दो लोगों की उंगलियों के निशान एक समान हो सकते हैं?

Two peoples same Finger Printsदोस्तों, अगर आपने फ्रांस के टेनिस खिलाड़ी जो विलोड सोंगा को देखा होगा, तो मुक्केबाज मुहम्मद अली की याद ज़रूर आयी होगी। सच, दोनों कितने ज्यादा मिलते हैं। सोंगा को ऑस्ट्रेलियन ओपन में खेलते हुए जब मैंने देखा, तो दिमााग में एक ही बात आई कि क्या उनकी उंगलियों के निशान भी मुहम्मद अली से मिलते होंगे?

नहीं, दुनिया में एक ही चीज़ ऐसी है जो आपके पास होती है और किसी दूसरे के पास नहीं, और वह है फिंगर प्रिंट्स।

प्रश्न ये है कि फिंगर प्रिंट्स क्या हैं और वह हर व्यक्ति में अलग-अलग क्यों होते हैं?

दरअसल, त्वचा में टिश्यू की दो परत होती है। एक गहरी परत कोरियम और दूसरी बहुत नाज़ुक एपिडरमिस। कोल्ड-ब्लडेड जानवरों में एपिडरमिस कोरियम पर बहुत आसानी से फिट हो जाती है और उनमें कोई “रिज’ नहीं होता, प्रिंट बनाने के लिए। लेकिन स्तनधारियों में यह दोनों परतें बहुत नज़दीक से जुड़ी होती हैं और निचली परत का कुछ हिस्सा जगह-जगह पर ऊपरी परत में उभर आता है। यही प्रिंट होते हैं। कुछ लोगों का ख्याल है कि निचली किस्म के स्तनधारियों में फिंगर प्रिंट्स नहीं होते।

ऐसा नहीं है। उनमें निचली परत के जो पैग ऊपर को उभरते हैं वह बेतुकेपन में बिखरे होते हैं। उनमें किसी किस्म की तरतीब या पैटर्न नहीं होता। ऐप्स में यह पैग पंक्तियों में अरेंज होते हैं, इसलिए त्वचा की ऊपरी परत में रिज समानांतर पंक्तियॉं बना देते हैं। लेकिन सभी ऐप्स में यह समानांतर पक्तियां होती हैं, इसलिए उनके फिंगर प्रिंट्स तकरीबन एक से ही होते हैं।

लेकिन इंसानों में फिगर प्रिंट्स अलग-अलग होते हैं। क्योंकि उनमें रिज की पंक्तियां एक निश्र्चित पैटर्न बनाती हैं। मानव फिंगर प्रिंटों को श्रेणीबद्ध करने का सिस्टम इसी पैटर्न का अध्ययन करके ही विकसित किया गया था। सर एडवर्ड हेनरी ने यह सिस्टम विकसित किया था। इस सिस्टम के अनुसार मानव उंगलियों पर सभी रिजों को लूप, सेंट्रल पॉकिट लूप, डबल लूप, आर्च, टेंटिड आर्च, वर्ल्स और एक्सीडेंटल में विभाजित किया जा सकता है। अगर तुम अपनी उंगलियों के निशान कागज़ पर उतारोगे तो यह सब दिखायी दे जायेंगे। पैटर्न में निश्र्चित प्वाइंटों के बीच रिजों को गिनने से सभी उंगलियों को एक निश्र्चित ग्रुप में श्रेणीबद्ध किया जा सकता है। फिर इन दसों उंगलियों को एक इकाई माना जाता है और व्यक्ति के फिंगर प्रिंटों को श्रेणीबद्ध किया जाता है। एक ही उंगली पर दो लोगों के समान रिज होंगे, इसकी संभावना ढाई करोड़ में एक की है, यानी न के बराबर है।

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