वॉशिंग मशीन का उपयोग

वॉशिंग मशीन का उपयोग

किसी भी मशीन को दीर्घकाल तक चलाने के लिए उसकी देखभाल अत्यंत आवश्यक होती है। अगर मशीन की देखभाल अच्छे तरीके से की जाए तो वह दुगुनी चलती है। प्रस्तुत है, कपड़े धोने वाली मशीन से संबंधित कुछ सावधानियां- मशीन को ऊंची-नीची जगह पर रखकर न चलाएं। इस तरह चलने पर मशीन हिलने-डुलने लगती है, […]

काहे को ब्याही विदेश

  ‘‘ललिता, रीना! यह कार्ड देखो. . .’’ जनार्दन वाक्य पूरा न कर सके। ललिता व रीना ने कार्ड पढ़कर सारा दोष जनार्दन के सिर मढ़ दिया। जनार्दन धीरे-धीरे पुन: अपने-आपको अपने काम में व्यस्त रखने लगे। एक दिन रीना ने ऐलान किया, ‘‘मैं प्रतीक को आप लोगों से मिलवाने ला रही हूं। कल का […]

कन्यादान

राम प्रसाद अपनी लड़की की शादी की तैयारियों में लगा हुआ था। एक अकेली जान, हजारों काम। कल लग्न लेकर जाना था। दहेज की वस्तुएं आज ही लानी थीं। लिस्ट बना रहा था, तभी उसकी पत्नी बोली, ‘‘अब बस भी करो। क्या सारा घर इसी पर लुटा दोगे?’’ इस पर रामप्रसाद बोला, ‘‘भगवान, आगे वालों […]

जेबीटी कार

मुनीष प्राइमरी स्कूल में जेबीटी अध्यापक था। वह जेबीटी अध्यापक केवल इस कार की वजह से बना था। यह कार न होती तो वह जेबीटी अध्यापक नहीं बन सकता था। अब जब वह मास्टर बन चुका है तो भी टैक्सी चलाता है। उसके स्कूल का मुखिया बहुत मेहरबान व्यक्ति है। छुट्टी आसानी से दे देता […]

निःशुल्क

स्कूल का पहला दिन था। सभी बच्चे उत्साह के साथ स्कूल पहुँचे। मास्टर जी ने बड़े प्यार से बच्चों का स्वागत किया और उन्हें दालान में बिछी दरियों पर बैठने का इशारा किया। कुछ ही देर बाद बड़े अधिकारी की कार आकर रुकी। मास्टर जी ने लपक कर दरवाजा खोला और मंच की तरफ ले […]

पहली महाविद्या काली

दस महाविद्याओं में काली प्रथम हैं। महाभागवत के अनुसार महाकाली ही मुख्य हैं और उन्हीं के उग्र और सौम्य दो रूपों में अनेक रूप धारण करने वाली दस महाविद्याएँ हैं। विद्यापति भगवान शिव की शक्तियाँ ये महाविद्याएँ अनंत सिद्धियाँ प्रदान करने में समर्थ हैं। दार्शनिक दृष्टि से भी कालतत्व की प्रधानता सर्वोपरि है। इसलिए महाकाली […]

चिकित्सकों का कानून बनाम मरीजों की गुलामी

चिकित्सक यानी सेहत का रखवाला, दुःखहर्ता, कुदरती बीमारियों और तकलीफों से निजात दिलाने वाला शख्स और सामान्य व्यक्तियों की निगाह में भगवान, ईश्‍वर, देवता। जी हाँ, दुनियाभर में चिकित्सकों के साथ ये उपमाएं सदियों से प्रयुक्त होती आ रही हैं। गुजश्ता समय में ऐसे कई उदाहरण देखने को मिले हैैंं, जब वे इन उपमाओं पर […]

बैठे-ठाले दफ्तर में लंच

यदि कहीं दफ्तर है तो दफ्तर में लंच अवश्य होगा। बल्कि यों कहा जाना चाहिए कि दफ्तर काल में लंच स्वर्णिम काल होता है। वास्तव में दफ्तर वह स्थान है जहाँ पर घरेलू कार्य तसल्ली से किये जाते हैं। यदि आप दफ्तर में काम करते हैं तो दफ्तर में लंच का इंतजार अवश्य करते होंगे। […]

इतिहास के आईने में

432 सेंट सिक्त्स तृतीय ने कैथोलिक पोप के रूप में अपना कार्यकाल शुरू किया। 1498 िास्टोफर कोलंबस ने त्रिनिदाद द्वीप की खोज की। 1588 अंग्रेजी नौसैनिक बेड़े ने स्पेन के जहाजी बेड़े को डुबोया। 1658 मुगल बादशाह औरंगजेब ने दिल्ली की गद्दी संभाली। 1958 तिब्बत में चीन विरोधी जनांदोलन। 1987 ईरानी जायरीनों और सऊदी सैनिकों […]

कहने से नहीं करने से होता है – विश्‍वनाथ सचद

हिवरे बाजार का नाम सुना है आपने? नहीं सुना होगा। सुनते भी कैसे, जो इस नाम से आपको परिचित करा सकते थे, हमारे अखबार और तथाकथित समाचार चैनल, उनकी खबर की परिभाषा में यह नाम शायद फिट नहीं बैठता। उन्हें जब सनसनी और वारदात से फुर्सत मिलेगी तब शायद वे इस गांव की भी सुध […]